ये चंद पंक्तियां सालो पहले लिखी थी मैने...
जीवन गमो का पहाङ बनता चला गया,
यादो का कफन भी सिमटता चला गया।
फुलो को पाने की चाह मे,
कांटो मे ऊलझता चला गया। जीवन....
देखी जो बेऱूखी उनकी इस कदर,
गमो से प्यार करता चला गया। जीवन..
छुपा रखा था जो ददॆ सीने मे,
नासुर बनता चला गया। जीवन....
अपनो को होता देखकर बेगाना,
हर इक से रिश्ता तोङता चला गया। जीवन....
[ अधीर ]
जीवन गमो का पहाङ बनता चला गया,
यादो का कफन भी सिमटता चला गया।
फुलो को पाने की चाह मे,
कांटो मे ऊलझता चला गया। जीवन....
देखी जो बेऱूखी उनकी इस कदर,
गमो से प्यार करता चला गया। जीवन..
छुपा रखा था जो ददॆ सीने मे,
नासुर बनता चला गया। जीवन....
अपनो को होता देखकर बेगाना,
हर इक से रिश्ता तोङता चला गया। जीवन....
[ अधीर ]
देखी जो बेऱूखी उनकी इस कदर,
जवाब देंहटाएंगमो से प्यार करता चला गया।
Thnxx a lot ....sonu sis
जवाब देंहटाएंजीवन गमो का पहाङ बनता चला गया,
जवाब देंहटाएंयादो का कफन भी सिमटता चला गया।
बहुत खूब
bahut bahut aabhar apka ...Sada, sis
जवाब देंहटाएंजीवन का एक आधार ये भी .....यूँ ही लिखते रहें
जवाब देंहटाएंब्लॉग जगत में स्वागत है आपका :)
Samaniya Anju Chaudhary ji ....
हटाएंAabhar apka ...
apka sahyog apekshit hai
अपनो को होता देखकर बेगाना,
जवाब देंहटाएंहर इक से रिश्ता तोङता चला गया।
बहुत खूब !!
Bahut bahut Aabhar Vibha di, aalochnatmak tippniyo ki aasha karta hu ...
हटाएंसुन्दर रचना
जवाब देंहटाएंसाधुवाद
@Yashoda di, dil khush ho jata hai apki prasansha pakar ...Aabhar
हटाएंjeevan ka sach bayan karti hai apki ye rachna...bahut khoob
जवाब देंहटाएं@Rewa ji....bahut bahut Aabhar apka ..sadar
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जवाब देंहटाएंअपनो को होता देखकर बेगाना,
हर इक से रिश्ता तोङता चला गया। जीवन....
......बहुत कुछ कह जाती हैं ..
जैसे आप की ये रचना !
Tahe dil se sukriya .....@ Sanjay ji
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